ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट एक दवा है जिसका इस्तेमाल गठिया का इलाज करने तथा इसकी रोकथाम करने के लिए किया जाता है. जब आपके शरीर में बहुत अधिक यूरिक एसिड जमा हो जाता है और यह क्रिस्टल का रूप लेकर आपके जोड़ों तथा किडनी में एकत्र होकर दर्द का कारण बनता है तो गठिया होता है. यह दवा यूरिक एसिड के स्तर को कम रखने में मदद करती है.
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट को भोजन के बाद लेना चाहिए. गठिया अटैक न होने पर भी आपको इसे अपने डॉक्टर के सुझाव के अनुसार लेते रहना चाहिए. अगर आप रुकते हैं, तो आपके लक्षण अधिक खराब हो सकते हैं क्योंकि आपके जोड़ों और किडनी में अधिक क्रिस्टल बन जाते हैं. आप अपनी डाइट में थोड़े बदलाव करके और बहुत सारे तरल पदार्थों का सेवन करके खुद की मदद कर सकते हैं.
इस दवा के कुछ सामान्य दुष्प्रभाव हैं मिचली आना , मिचली आना , सीरम ग्लूटामिक ऑक्सालोएसिटिक ट्रांसएमिनेज़ और सीरम ग्लूटामेट पाइरूवेट ट्रांसएमिनेज़ का बढ़ना, और क्षारीय फॉस्फेट का बढ़ना. इन लक्षणों की रोकथाम के या उनको कम करने के तरीकों से आपका डॉक्टर आपकी मदद कर सकता है. कुछ लोगों को गंभीर एलर्जिक रिएक्शन होते हैं जिसके लिए तत्काल डॉक्टर के पास जाने की जरूरत पड़ जाती है. यदि आपको ठीक न हो रहे मिचली आना , त्वचा या आंखों का पीला पड़ना, गहरे रंग का मूत्र आना आदि जैसे लिवर की बीमारियों से जुड़े लक्षण दिखाई दे रहे हैं तो इस बारे में सीधे अपने डॉक्टर से बात करें.
यह सुनिश्चित करने के लिए कि यह दवा आपके लिए सुरक्षित है, इसे लेने से पहले, अगर आपको हृदय गति रुकना, हृदय की समस्याएं, स्ट्रोक, किडनी या लिवर रोग, या थायरॉइड संबंधी समस्याएं हैं या थीं, तो डॉक्टर को बताएं. अगर आप गर्भवती हैं या स्तनपान कराती हैं तो इस दवा का इस्तेमाल न करें. अपने डॉक्टर को बताएं. आपको नियमित रूप से ब्लड टेस्ट करवाने के लिए कहा जाएगा ताकि यह जांच की जा सके कि आपका लिवर सही तरीके से काम कर रहा है.
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट को गठिया की रोकथाम और इलाज के लिए इस्तेमाल किया जाता है. गठिया आपके शरीर में बहुत अधिक यूरिक एसिड के कारण होता है. जब स्तर बहुत अधिक हो जाता है, तो क्रिस्टल कुछ जोड़ों और आपकी किडनी व उसके आसपास बन सकते हैं. इससे अचानक और गंभीर दर्द, लालिमा, गर्माइश और सूजन हो सकती है. यह दवा क्रिस्टल को बनने से रोककर और आपके रक्त में यूरिक एसिड के स्तर को कम करके काम करती है. इससे आपमें लक्षण पैदा होने की संभावनाएं कम हो जाती हैं और यदि ये लक्षण दिखते भी हैं तो ये हल्के हो जाते हैं. आमतौर पर यह दीर्घकालिक इलाज है और खुराक के पूरी होने तक नियमित रूप से लिया जाना चाहिए.
ऑलफिएन्ज टैबलेट के साइड इफेक्ट
इस दवा से होने वाले अधिकांश साइड इफेक्ट में डॉक्टर की सलाह लेने की ज़रूरत नहीं पड़ती है और नियमित रूप से दवा का सेवन करने से साइट इफेक्ट अपने आप समाप्त हो जाते हैं. अगर साइड इफ़ेक्ट बने रहते हैं या लक्षण बिगड़ने लगते हैं तो अपने डॉक्टर से सलाह लें
ऑलफिएन्ज के सामान्य साइड इफेक्ट
डायरिया
मिचली आना
Elevated serum glutamic oxaloacetic transaminase
Elevated serum glutamic pyruvic transaminase
इन्क्रीज़्ड एल्कलाइन फॉस्फटेज़ लेवल इन ब्लड
ऑलफिएन्ज टैबलेट का इस्तेमाल कैसे करें
इस दवा की खुराक और अनुपान की अवधि के लिए अपने डॉक्टर से सलाह लें. इसे साबुत निगल लें. इसे चबाएं, कुचलें या तोड़ें नहीं. ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट को भोजन के साथ लेना बेहतर होता है.
ऑलफिएन्ज टैबलेट किस प्रकार काम करता है
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट ज़ैंथाइन ऑक्सिडेज इन्हिबिटर है. यह गठिया का कारण बनने वाले ब्लड यूरिक एसिड को कम करके काम करता है.
सुरक्षा संबंधी सलाह
अल्कोहल
सावधान
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट के साथ शराब का सेवन करते समय सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है. कृपया अपने डॉक्टर से सलाह लें.
गर्भावस्था
डॉक्टर की सलाह लें
गर्भावस्था के दौरान ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट का इस्तेमाल करना असुरक्षित हो सकता है. हालांकि, इंसानों से जुड़े शोध सीमित हैं लेकिन जानवरों पर किए शोधों से पता चलता है कि ये विकसित हो रहे शिशु पर हानिकारक प्रभाव डालता है. आपके डॉक्टर पहले इससे होने वाले लाभ और संभावित जोखिमों की तुलना करेंगें और उसके बाद ही इसे लेने की सलाह देंगें. कृपया अपने डॉक्टर से सलाह लें.
स्तनपान
डॉक्टर की सलाह लें
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट स्तनपान के दौरान इस्तेमाल के लिए संभवतः असुरक्षित है. मानवो पर किए गए अध्ययनों से पता चलता है कि यह दवा मां के दूध में मिश्रित हो सकती है और बच्चे को नुकसान पहुंचा सकती है.
ड्राइविंग
असुरक्षित
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट के इस्तेमाल से ऐसे साइड इफेक्ट्स भी हो सकते हैं जिससे आपकी गाड़ी चलाने की क्षमता प्रभावित हो सकती है. ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेते समय कभी कभी बेहोशी छाना, चक्कर आना या वर्टिगो, अटेक्सिया और देखने में परेशानी हो सकती है. इससे आपका गाड़ी चलाने की क्षमता प्रभावित हो सकती है.
किडनी
सावधान
किडनी की बीमारियों से पीड़ित मरीजों में ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट का इस्तेमाल सावधानी के साथ किया जाना चाहिए. ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट की खुराक में बदलाव की आवश्यकता हो सकती है. कृपया अपने डॉक्टर से सलाह लें.
लिवर
सावधान
लिवर की बीमारियों से पीड़ित मरीजों में ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट का इस्तेमाल सावधानी से किया जाना चाहिए. ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट की खुराक में बदलाव की आवश्यकता हो सकती है. कृपया अपने डॉक्टर से सलाह लें.
अगर आप ऑलफिएन्ज टैबलेट लेना भूल जाएं तो?
अगर आप ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट निर्धारित समय पर लेना भूल गए हैं तो जितनी जल्दी हो सके इसे ले लें. हालांकि, अगर अगली खुराक का समय हो गया है तो छूटी हुई खुराक को छोड़ दें और नियमित समय पर अगली खुराक लें. खुराक को डबल न करें.
सभी विकल्प
यह जानकारी सिर्फ सूचना के उद्देश्य से है. कृपया कोई भी दवा लेने से पहले डॉक्टर से परामर्श लें.
आपके डॉक्टर ने गठिया अटैक के एपिसोड को कम करने के लिए ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेने की सलाह दी है.
पेट खराब होने से बचने के लिए, ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट को खाने के साथ लें.
इस दवा का सेवन करते समय रोजाना पर्याप्त मात्रा में तरल पदार्थ (2-3 लीटर) लें.
अगर रैशेज निकल रहे हैं तो डॉक्टर को सूचित करें. यह एलर्जी हो सकता है और ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट के बंद करने पर यह ठीक हो जाना चाहिए.
जब आप पहली बार इस दवा को लेना शुरू करते हैं, तो आपके गठिया अटैक में बढ़ोत्तरी हो सकती है. गठिया का एक्यूट अटैक होने पर ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट को न रोकें क्योंकि इससे अटैक और अधिक बिगड़ सकता है.
इलाज शुरू करने से पहले और उसके बाद नियमित रूप से, आपका डॉक्टर आपका लिवर फंक्शन चेक कर सकता है. अगर आप आंखों या त्वचा में पीलापन, गहरे रंग की पेशाब देखते हैं या पेट में दर्द महसूस करते हैं तो अपने डॉक्टर को सूचित करें.
इस दवा को लेते समय शराब का सेवन न करें क्योंकि इससे आपका गठिया अधिक गंभीर हो सकता है.
फैक्ट बॉक्स
रासायनिक वर्ग
पायराज़ोलो पाइरीमिडीन डेरिवेटिव
लत लगने की संभावना
नहीं
चिकित्सीय वर्ग
दर्द निवारक
एक्शन क्लास
जैंथिन ऑक्सिडेज़ इनहिबिटर-गठिया
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेने के लिए दिन का सबसे अच्छा समय क्या है?
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट दिन के किसी भी समय लिया जा सकता है, लेकिन प्रत्येक दिन एक ही समय लेना चाहिए. ताकि आपको याद रहे. आमतौर पर दिन में एक बार निर्धारित किया जाता है और भोजन के बाद इसे लिया जाना चाहिए. अगर खुराक 300 एमजी से अधिक है या अगर आपका पेट खराब हो जाता है, तो आप डॉक्टर द्वारा दी गई सलाह के अनुसार इसे विभाजित खुराक में ले सकते हैं.
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेते समय मुझे अभी भी गठिया क्यों मिलेगा?
अगर आपने ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेना शुरू कर दिया है, तो आपको गठिया (गंभीर दर्द, सूजन और लालपन) के अटैक में बढ़ोतरी का अनुभव हो सकता है. हालांकि, ये आमतौर पर चिकित्सा के कई महीनों के बाद कम और कम गंभीर हो जाते हैं. यूरिक एसिड क्रिस्टल में वृद्धि होने का संभावित कारण ग्रेजुअल ब्रेकडाउन हो सकता है, जिससे रक्त में यूरिक एसिड के स्तर में उतार-चढ़ाव हो सकता है. ऐसी दर्दनाक घटनाओं को रोकने के लिए, आपका डॉक्टर ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट के साथ कोल्किसिन लेने की सलाह दे सकता है, क्योंकि यह गाउट के अटैक को संदमित कर सकता है.
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट को यूरिक एसिड के स्तर को कम करने में कितना समय लगता है?
आपको बेहतर महसूस करने या गठिया के अटैक (गंभीर दर्द, सूजन, और लालिमा) की कमी दिखाई देने में कई महीने लग सकते हैं. शुरू में ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट शुरू करने के बाद आपको गाउट के अटैक हो सकते हैं. अगर आपको अटैक आने में कोई राहत नहीं मिल रही है तब भी ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट का सेवन जारी रखें. अपने डॉक्टर से सलाह लिए बिना ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेना बंद न करें. आपका डॉक्टर शुरुआती हमले को रोकने के लिए, आपको ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट के साथ दूसरी दवा लेने की सलाह देंगे. शरीर को सभी यूरिक एसिड क्रिस्टल से पूरी तरह से छुटकारा पाने में वर्षों तक का समय लग सकता है.
अगर मैं ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेते समय शराब लेता हूं तो क्या होगा?
ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेते समय आपको अल्कोहल का सेवन नहीं करना चाहिए, क्योंकि इससे आपकी स्थिति और भी बुरी हो सकती है. इसके अलावा, आपको प्रोटीन की प्रचुर मात्रा वाले सभी प्रकार के भोजनों से बचना चाहिए क्योंकि इससे गठिया अटैक की रोकथाम में मदद मिलेगी. खाद्य पदार्थों की विस्तृत सूची के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें जिन्हें इससे बचना चाहिए. यह सलाह दी जाती है कि ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट लेते समय कम से कम 8 गिलास पानी या अन्य तरल पदार्थ लें, जब तक कि आपके डॉक्टर ने इसके विपरीत सलाह न दी हो.
क्या ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट से सुस्ती होती है?
हां, ऑलफिएन्ज 300mg टैबलेट के कारण कुछ लोगों में उनींदापन आ सकता है. यह आपको गिडी (चक्कर) महसूस कर सकता है या आपको समन्वय में समस्या हो सकती है. अगर आप इन दुष्प्रभावों का अनुभव करते हैं तो ड्राइविंग या ऑपरेटिंग मशीनरी से बचना बेहतर होगा. हालांकि, अगर यह अनिवार्य है, तो ऐसे कार्यों को करते समय अत्यधिक सावधानी बरतनी चाहिए.
टाटा 1mg's का एकमात्र उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि उसके उपभोक्ताओं को एक्सपर्ट द्वारा जांच की गई, सटीक और भरोसेमंद जानकारी मिले. हालांकि, यहां निहित जानकारी का उपयोग एक योग्य चिकित्सक की सलाह के लिए विकल्प के रूप में नहीं किया जाना चाहिए. यहां दिए गए विवरण सिर्फ़ आपकी जानकारी के लिए हैं. यह संभव है कि इसमें स्वास्थ्य संबधी किसी विशेष समस्या, लैब टेस्ट, दवाओं और उनके सभी संभावित दुष्प्रभावों, पारस्परिक प्रभाव और उनसे जुड़ी सावधानियां एवं चेतावनियों के बारे में सारी जानकारी सम्मिलित ना हो। किसी भी दवा या बीमारी से जुड़े अपने सभी सवालों के लिए डॉक्टर से संपर्क करें. हमारा उद्देश्य डॉक्टर और मरीज के बीच के संबंध को मजबूत बनाना है, उसका विकल्प बनना नहीं.
रिफरेंस
Furst DE, Ulrich RW, Varkey-Altamirano C. Nonsteroidal Anti-Inflammatory Drugs, Disease Modifying Antirheumatic Drugs, Nonopioids Analgesics, & Drugs Used in Gout. In: Katzung BG, Masters SB, Trevor AJ, editors. Basic and Clinical Pharmacology. 11th ed. New Delhi, India: Tata McGraw Hill Education Private Limited; 2009. pp. 638-39.
Grosser T, Smyth E, FitzGerald GA. Anti-Inflammatory, Antipyretic, and Analgesic Agents; Pharmacotherapy of Gout. In: Brunton LL, Chabner BA, Knollmann BC, editors. Goodman & Gilman’s: The Pharmacological Basis of Therapeutics. 12th ed. New York, New York: McGraw-Hill Medical; 2011. pp. 996-97.
Briggs GG, Freeman RK, editors. A Reference Guide to Fetal and Neonatal Risk: Drugs in Pregnancy and Lactation. 10th ed. Philadelphia, PA: Wolters Kluwer Health; 2015. pp. 40-42.
एक ही कंपोजिशन वाले उपलब्ध विकल्पों की सूची रजिस्टर्ड चिकित्सकों और Tata 1mg से जुड़े फार्मासिस्टों की सलाह पर तैयार की गई है. Tata 1mg किसी विशेष कंपनी के किसी दवा उत्पाद का प्रचार नहीं करता है और सभी रिकमेंडेशन या सुझाव, विशेषज्ञ डॉक्टरों और फार्मास्यूटिकल एक्सपर्ट्स की सलाह पर आधारित होती हैं.